Digital Arrest Fraud : सरकार ने ऑनलाइन फ्रॉड और डिजिटल अरेस्ट को रोकने के लिए बड़ी कार्रवाई की है। गृह मंत्रालय के अनुसार, 17,000 से अधिक WhatsApp अकाउंट्स को ब्लॉक कर दिया गया है। इन अकाउंट्स का इस्तेमाल साइबर क्राइम और डिजिटल अरेस्ट के लिए किया जा रहा था। ये अकाउंट्स मुख्य रूप से कंबोडिया, म्यांमार, लाओस और थाईलैंड जैसे देशों से जुड़े हुए थे और भारत में लोगों को ठगने के लिए इनका इस्तेमाल किया जा रहा था।
इस साल जनवरी से अक्टूबर तक डिजिटल अरेस्ट के 92,000 से ज्यादा मामले दर्ज हुए हैं। यह बड़ी कार्रवाई गृह मंत्रालय के साइबर क्राइम कॉर्डिनेशन सेंटर द्वारा की गई, जो ऑनलाइन प्लेटफार्मों पर की गई शिकायतों पर आधारित थी।
साइबर फ्रॉड का नया तरीका
हाल के महीनों में डिजिटल अरेस्ट के कारण करोड़ों रुपये की धोखाधड़ी की घटनाएं सामने आई हैं। गृह मंत्रालय की साइबर फ्रॉड कोऑर्डिनेशन सेंटर (I4C) ने साइबर क्राइम पोर्टल पर आई शिकायतों के आधार पर इस कार्रवाई का निर्देश दिया। I4C ने मेटा के माइक्रोब्लॉगिंग प्लेटफॉर्म व्हाट्सऐप से इन अकाउंट्स के खिलाफ कार्रवाई करने को कहा।
इस साइबर फ्रॉड का नया तरीका यह है कि स्कैमर्स CBI, ED और इनकम टैक्स जैसे बड़े अधिकारियों के रूप में लोगों को डराकर और सोशल इंजीनियरिंग का उपयोग करके धोखाधड़ी करते हैं। इससे लोग बदनामी के डर से स्कैमर्स के अकाउंट में पैसा ट्रांसफर कर देते हैं।
सरकार द्वारा की गई इस कार्रवाई से उम्मीद है कि साइबर फ्रॉड और डिजिटल अरेस्ट के मामलों में कमी आएगी। लोगों को ऑनलाइन धोखाधड़ी से बचाने के लिए यह एक मजबूत कदम है।